Majedar Jadui Chole Bhature Story in Hindi
सोनू को छोले भटूरे बहुत पसंद थे। जब भी उसकी माँ यह बनातीं, वह खुशी से उछल पड़ता। लेकिन उसे कभी नहीं पता था कि एक दिन छोले भटूरे उसे एक जादुई सफर पर ले जाएंगे!
एक दिन, सोनू अपने दोस्त राहुल के साथ बाज़ार गया। रास्ते में एक छोटी-सी “जादुई छोले भटूरे” नाम की दुकान दिखी। दुकान बहुत पुरानी लग रही थी, लेकिन उसमें से आती खुशबू इतनी लाजवाब थी कि दोनों का मन ललचा गया।
दुकान के अंदर एक बूढ़े बाबा बैठे थे। उनकी सफेद दाढ़ी थी और आँखों में अजीब-सा चमक था। सोनू और राहुल ने कहा, “बाबा, हमें दो प्लेट छोले भटूरे चाहिए!”
बाबा मुस्कुराए और बोले, “बिलकुल! लेकिन यह साधारण छोले भटूरे नहीं हैं। इन्हें खाते ही तुम एक अनोखी दुनिया में पहुँच जाओगे!
सोनू और राहुल हँस पड़े, उन्हें लगा बाबा मज़ाक कर रहे हैं। लेकिन जैसे ही उन्होंने पहला निवाला लिया, अचानक उनके चारों ओर धुंआ उठा और वे हवा में घूमने लगे!
जब धुंआ साफ हुआ, तो वे खुद को एक विशाल, खाने की दुनिया में पाए। चारों तरफ खाने के पहाड़ थे – गुलाब जामुन के पेड़, पनीर के पहाड़ और लड्डू के पत्थर!
अचानक, एक बड़ा-सा भटूरा राजा उनके सामने आया। उसकी आवाज़ गूँजी, “तुम यहाँ कैसे आए? यह हमारा जादुई खाने का साम्राज्य है!” सोनू और राहुल डर गए, लेकिन उन्होंने राजा को पूरी बात बताई। राजा हँसने लगा, “अगर तुम वापस जाना चाहते हो, तो तुम्हें मेरी एक परीक्षा पास करनी होगी।”
राजा ने उन्हें तीन जादुई चटनियों की पहचान करने को कहा। उनके सामने हरी, लाल और पीली चटनी रखी गई। अगर वे सही जवाब देते, तो उन्हें वापसी का रास्ता मिल जाता।
सोनू ने ध्यान से देखा और कहा, “हरी चटनी धनिया-पुदीने की है, लाल टमाटर और मिर्च की, और पीली इमली और गुड़ की!” राजा खुश हो गया और बोला, “शाबाश! तुमने परीक्षा पास कर ली। अब अपनी आँखें बंद करो।”
जैसे ही उन्होंने आँखें खोलीं, वे वापस दुकान में थे! लेकिन उनके हाथों में अभी भी जादुई छोले भटूरे का स्वाद था। जब उन्होंने बाबा को धन्यवाद कहा और इधर-उधर देखा, तो आश्चर्य हुआ – दुकान ही गायब हो चुकी थी!
राहुल और सोनू को समझ आ गया कि खाने का असली मज़ा स्वाद के साथ उसकी कहानी में भी छुपा होता है। अब जब भी वे छोले भटूरे खाते, उन्हें अपनी जादुई दुनिया याद आती!
Read More- बच्चों के लिए जादुई और मजेदार कहानियां